नई दिल्ली: गोवा में मुलाकात के बाद अब कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और पूर्व रक्षा मंत्री और मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर के बीच वाक युद्ध छिड़ गया है. राफेल डील को लेकर दावे पर सीएम मनोहर पर्रिकर की तरफ से लिखी गई चिट्ठी का राहुल गांधी ने जवाब दिया है. राहुल गांधी ने पर्रिकर को लिखी चिट्ठी में कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को प्रति वफादारी दिखाने के दबाव में मुझपर निशाना साधा गया है.

सीएम मनोहर पर्रिकर को लिखे पत्र में राहुल गांधी ने लिखा है, ‘’मुझे आपकी स्थिति से हमदर्दी है, मैं समझता हूं कि कल की हमारी मुलाकात के बाद आप पर कितना दबाव है. दबाव की वजह से पर्रिकर को प्रधानमंत्री और उनके साथियों के प्रति वफादारी दिखाने के लिये अव्यवहारिक ढंग से मुझपर निशाना साधने का असामान्य कदम उठाना पड़ा.’’

राहुल ने पत्र में और क्या लिखा है?

‘’पर्रिकर जी, मैं यह सुनकर आहत हूं कि आपने मुझे कोई पत्र लिखा और इसे मुझे पढ़ने का मौका मिलने से पहले ही मीडिया में लीक कर दिया. सम्मान के साथ कहना चाहता हूं कि मेरा आपके यहां दौरा पूरी तरह निजी था.निःसन्देह आपको यह याद होगा कि जब अमेरिका में आपका उपचार चल रहा था तब भी मैंने आपकी सेहत के बारे में जानने के लिए संपर्क किया था.

बहरहाल, मैं एक जनप्रतिनिधि हूं. राफेल सौदे में एक भ्रष्ट प्रधानमंत्री की बेईमानी को लेकर उन पर हमला करना मेरा अधिकार है. मैंने वही बातें कहीं हैं जो पहले से ही सार्वजनिक पटल पर हैं. मैंने हमारी मुलाकात के दौरान हुई बातचीत की कोई जानकारी साझा नहीं की है. मुझे इस अनावश्यक और दुर्भाग्यपूर्ण विवाद पर बोलने के लिए मजबूर होना पड़ा क्योंकि पत्र मीडिया को लीक किया गया. मैं आपके जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं.’’

क्या है पूरा मामला? दरअसल राहुल गांधी ने कल गोवा में बीमार चल रहे राज्य के सीएम मनोहर पर्रिकर से मुलाकात की थी. पर्रिकर से मुलाकात के बाद राहुल ने कहा, ''मैं कल पर्रिकर जी से मिला था. पर्रिकर जी ने खुद कहा था कि डील बदलते समय पीएम मोदी ने हिंदुस्तान के रक्षा मंत्री से नहीं पूछा था.’’ राहुल ने आगे कहा, ‘’राफेल पर हमने 3-4 सवाल पूछे...बड़े सवाल नहीं थे. लेकिन चौकीदार कभी यूं देखें, कभी इधर देखें, कभी उधर देखें, कभी यहां देखें पर आंख से आंख नहीं मिला पाए.'' राहुल के इस दावे के बाद सीएम मनोहर पर्रिकर ने उन्हें एक चिट्ठी लिखकर उनके दावे को खारिज कर दिया. सीएम पर्रिकर ने लिखा, ''मेरी राहुल गांधी से मात्र पांच मिनट मुलाकात हुई थी और इस मुलाकात में राफेल डील पर कोई बात नहीं हुई. पर्रिकर ने कहा है कि आपने राजनीतिक फायदे के लिए राहुल गांधी ने देश के सामने झूठ बोला है. राफेल विवाद है क्या? बता दें कि तत्कालीन यूपीए सरकार ने 600 करोड़ रुपये में एक राफेल का सौदा किया था. अब बताया जा रहा है कि सरकार को एक राफेल करीब 1600 करोड़ रुपये का पड़ेगा. राफेल डील में 50 फीसदी ऑफसेट क्लॉज का प्रावधान है. यानि इस सौदे की पचास फीसदी कीमत को राफेल बनाने वाली कंपनी दसॉल्ट को भारत में ही रक्षा और एयरो-स्पेस इंडस्ट्री में लगाना होगा. इसके लिए दसॉल्ट कंपनी ने भारत की रिलायंस इंडस्ट्री से करार किया है. अनिल अंबानी की रिलायंस डिफेंस इंडस्ट्री ने जो कंपनी बनाई है, उसके साथ मिलकर दसॉल्ट कंपनी भारत में ज्वाइंट वेंचर कर रही है. ये दोनों मिलकर भारत में नागरिक विमानों के स्पेयर पार्ट्स बनाने जा रही हैं. रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया था कि "36 राफेल आईजीए (इंटर गर्वमेंटल एग्रीमेंट) में ऑफसेट्स की मात्रा 50 फीसदी है, जिसमें योग्य उत्पादों और सेवाओं के निर्माण या रखरखाव के लिए प्रौद्योगिकी के हस्तांतरण में निवेश शामिल हैं.'' यह भी पढ़ें- अपने दम पर 282 सीटें जीतने वाली BJP इस बार गठबंधन दलों के साथ 252 पर सिमट जाएगी- सर्वे गोवाः बजट पढ़ते हुए बोले सीएम पर्रिकर-जोश में भी हूं, होश में भी हूं, नाक में लगी है ड्रिप कुंभ की धर्म संसद में शंकराचार्य का बड़ा एलान- 21 फरवरी को रखेंगे राम मंदिर की पहली ईंट जानें, बजट सत्र के साथ कब-कब और क्यों होता है राष्ट्रपति का अभिभाषण, क्या है प्रक्रिया वीडियो देखें-