Drugs Smuggling Case: पंजाब में हाईप्रोफाइल अंतरराष्ट्रीय ड्रग्स रैकेट के सरगना को एसटीएफ (STF) ने गिरफ्तार किया है. इस दौरान पहली बार पुलिस और तस्करों के गठजोड़ का भी पर्दाफाश हुआ है. एसटीएफ ने ब्रिटिश नागरिक और अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी रहे रणजीत सिंह उर्फ़ जीता मौड़ को गिरफ्तार किया है. इसके अलावा पंजाब पुलिस के रिटायर्ड डीएसपी विमल कांत और थानेदार मनीष को भी एसटीएफ ने दबोचा है. ड्रग्स डील में कमाए गायक करोड़ों रुपये रियल एस्टेट और जमीनों को खरीदने में इन्वेस्ट किए गए. 


एसटीएफ के मुताबिक रणजीत पंजाब के कपूरथला ज़िले में आलीशान बंगले में रहता था. उसके पास ऑडी बीएमडब्ल्यू समेत कई महंगी गाड़ियां थीं. चौंकाने वाली बात यह है कि वह पुलिस सुरक्षा के बीच ड्रग्स की सप्लाई करता था. सुरक्षा के लिए दिए गए दो थानेदार उसकी ड्रग्स डील और पैसे का हिसाब रखते थे. तस्कर रणजीत जीता के तार पंजाब के कई बड़े नेताओं और पुलिस अफ़सरों से जुड़े हैं. एसटीएफ इस गठजोड़ की पड़ताल कर रही है कि किन किन असरदार लोगों को ड्रग्स की रकम दी गई है. इसके अलावा यह भी जांच की जा रही है कि रणजीत ने कहां-कहां इस पैसे का निवेश किया है. 


रणजीत जीता के बंगले से मिली आलीशान गाड़ियां एसटीएफ ने जब्त कर ली हैं. रणजीत के घर से एक हथियार और 100 ग्राम संदिग्ध पदार्थ के अलावा कुछ कई लाख रुपए की नकदी भी मिली है. एसटीएफ के मुताबिक रणजीत के सम्पर्क में अमेरिका में  रहने वाला गुरजंट सिंह और कनाडा का कबड्डी प्लेयर दविंदर सिंह उर्फ़ जवाहर भी है. एक रिपोर्ट में ईडी ने भी ज़िक्र किया था कि रणजीत सिंह 'जीता' के खातों में 27 करोड़ रुपए की एंट्री हुई है. इस आमदन का पुख़्ता प्रमाण उसके पास नहीं है.


पंजाब एसटीएफ ने जीता के ख़िलाफ़ बुधवार रात एफआईआर दर्ज कर ली. जीता बेहद चालाक है और उसके पुलिस और पॉलिटिशियन से भी अच्छे कनेक्शन हैं. गिरफ़्तारी के डर से रणजीत 'जीता' ने विदेश भागने की कोशिश की, लेकिन एयरपोर्ट पहुंचने से पहले ही एसटीएफ ने उसे धर दबोचा. जीता का कार्टेल क्या अमेरिका और कनाडा तक ड्रग्स सप्लाई करता था, इसकी पड़ताल के लिए एसटीएफ कोर्ट से जीता की रिमांड मांगेगी. 


जीता की सुरक्षा में तैनात दोनों थानेदारों के घर पर भी एसटीएफ की छापेमारी चल रही है. थानेदार मनीष के घर से साढ़े तीन लाख रुपये मिले हैं. इसके लैपटॉप को एसटीएफ ने अपने कब्जे में ले लिया है. एसटीएफ के मुताबिक जीता की सुरक्षा में तैनात दोनों पुलिसकर्मी उसे पुलिस नाकों पर जांच से बचाते थे. अब तक तीन विदेशी नागरिकों समेत 12 लोगों को नामज़द किया गया है.


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