Operation Sindoor: ऑपरेशन सिंदूर का जवाब देने के लिए पाकिस्तान ने 7-8 मई की रात भारत के कई सैन्य ठिकानों पर ड्रोन से मिसाइल अटैक के नाकाम हमले की कोशिश की. भारत के 'सुदर्शन चक्र' S-400 एयर डिफेंस सिस्टम ने पाकिस्तानी मिसाइलों को हवा में तबाह कर दिया. भारत ने अमेरिका की रणनीति अपनाते हुए पाकिस्तान को जवाब दिया. 

भारत ने पाकिस्तानी हमलों की कोशिश को नाकाम करने के लिए अमेरिका की रणनीति SEAD को अपनाया. SEAD का फुलफॉर्म है- सप्रेशन ऑफ इनेमी एयर डिफेंस. इसके तहत भारत ने पाकिस्तान में स्थित लाहौर और रावलपिंडी के चीनी एयर डिफेंस सिस्टम (HQ-9) को तबाह कर दिया. 

किन सैन्य ठिकानों पर पाकिस्तान ने की हमलों की कोशिश?

पाकिस्तान ने 7-8 मई की रात ड्रोन और मिसाइलों का इस्तेमाल करते हुए अवंतीपुरा, श्रीनगर, जम्मू, पठानकोट, अमृतसर, कपूरथला, जालंधर, लुधियाना, आदमपुर, बठिंडा, चंडीगढ़, नल, फलौदी, उत्तरलाई और भुज सहित उत्तरी और पश्चिमी भारत में कई सैन्य ठिकानों पर हमला करने की नाकाम कोशिश की. हालांकि भारतीय सेना ने इन हमलों को S-400 एयर डिफेंस सिस्टम से बेअसर कर दिया.

पाकिस्तान के दो एयर डिफेंस सिस्टम तबाह

इंडियन आर्मी की कार्रवाई के बाद पाकिस्तानी ड्रोन और मिसाइलों के मलबे कई जगहों से बरामद किए गए, जो बताते हैं कि पाकिस्तान को कैसे अपने मुंह की खानी पड़ी है. भारतीय सेना ने अपने सैन्य ठिकानों पर हुए हमलों का जवाब देते हुए पाकिस्तान के लाहौर और रावलपिंडी में एयर डिफेंस सिस्टम को तबाह कर दिया. 

भारत ने किया था ऑपरेशन सिंदूर

भारत ने पहलगाम हमले का बदला लेते हुए पाकिस्तान और पीओके में ऑपरेशन सिंदूर किया, जिसमें भारतीय सेना ने आतंकियों के 9 कैंप को तबाह कर दिया. इस ऑपरेशन में 100 से ज्यादा आतंकी भी मारे गए. भारतीय सेना की इस कार्रवाई के बाद पाकिस्तान बौखलाया हुआ है और लगातार जवाबी कार्रवाई करने की धमकी दे रहा है. 

S-400 'सुदर्शन चक्र' की विशेषताएं

दुनिया के सर्वश्रेष्ठ एयर डिफेंस सिस्टम में शामिल S-400 'सुदर्शन चक्र' लंबी दूरी की सतह से हवा में मार करने वाला मिसाइल सिस्टम है. इसे रूस के अल्माज-एंटी द्वारा विकसित किया गया है. इसमें स्टेल्थ फाइटर जेट, बमवर्षक, क्रूज और बैलिस्टिक मिसाइल और यहां तक कि मानव रहित हवाई वाहन (यूएवी) सहित कई हवाई लक्ष्यों को मार गिराने की क्षमता है. इसमें चार अलग-अलग प्रकार की मिसाइलें हैं जो 400 किलोमीटर की दूरी तक के लक्ष्य को भेद सकती हैं. इसमें दो अलग-अलग रडार सिस्टम हैं, जो 600 किलोमीटर की दूरी तक हवाई लक्ष्यों का पता लगा सकते हैं और एक साथ 80 हवाई लक्ष्यों को निशाना बना सकते हैं. अगर इस सिस्टम को तैनात किया जाए तो यह सिग्नल मिलने के 3 मिनट के भीतर फायरिंग के लिए तैयार हो जाता है.