CM Hemant Soren Case: ऐसी जानकारी है कि निर्वाचन आयोग ने खनन पट्टा आवंटन मामले में झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को 31 मई को व्यक्तिगत रूप से या अपने वकील के माध्यम से पेश होने के लिए कहा है. निर्वाचन आयोग ने सोरेन को इस आरोप पर अपना पक्ष रखने के लिए नोटिस दिया था कि उन्होंने राज्य में एक खनन पट्टा अपने पक्ष में जारी किया था.
इस घटनाक्रम की जानकारी रखने वाले सूत्रों ने बताया कि सोरेन के जवाब का अध्ययन करने के बाद निर्वाचन आयोग ने उन्हें व्यक्तिगत रूप से या अपने वकील के जरिए 31 मई को पेश होने को कहा है. सूत्रों ने बताया कि अगला कदम उठाने से पहले आयोग उनकी या उनके वकीलों की बात सुनेगा. निर्वाचन आयोग अपनी राय राज्यपाल को भेजेगा. लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम की धारा 9ए सरकारी अनुबंध के लिए एक विधायक की अयोग्यता से संबंधित है. आयोग ने प्रथमदृष्टया पाया है कि उन्होंने (सोरेन) धारा 9ए के प्रावधानों का उल्लंघन किया है.
खनन पट्टों में पूजा सिंघल की भूमिका
ये मामला तब चर्चा में आया जब आईएएस अधिकारी पूजा सिंघल के सीए के घर से 17 करोड़ रुपये कैश बरामद हुए. इसके अलावा उनके कई ठिकानों पर छापेमारी हुई, जिसमें ऐसी ही कई संपत्ति और कैश बरामद हुआ. पूजा सिंघल सोरेन सरकार में बतौर माइनिंग सचिव काम कर रही थीं. इसे लेकर ईडी ने हाईकोर्ट में बताया कि, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के नाम खनन पट्टा आवंटित करने में कथित मनरेगा घोटाले के सिलसिले में निलंबित खान सचिव पूजा सिंघल ने महत्वपूर्ण भूमिका निभायी थी. इतना ही नहीं, मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े मामलों में भी सिंघल कथित रूप से शामिल रही हैं और ईडी ने इसका सबूत होने का दावा किया.
हाईकोर्ट ने मांगी है ईडी से रिपोर्ट
बता दें कि सीएम हेमंत सोरेन को मिले माइनिंग पट्टे की जांच ED कर रही है. सोरेन के खिलाफ झारखंड के मुख्यमंत्री और खान मंत्री रहते खनन पट्टा आवंटित करने और उनके करीबियों के शेल कंपनियों में निवेश को लेकर ये जांच चल रही है. हाईकोर्ट ने इस मामले में ईडी से सीलबंद लिफाफे में रिपोर्ट मांगी है. इसी मामले में चुनाव आयोग ने भी हेमंत सोरेन से जवाब मांगा था, जिसके बाद उन्होंने आयोग में अपना जवाब दाखिल कर दिया है.
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