नई दिल्ली: पश्चिमी दिल्ली से बीजेपी के सांसद प्रवेश वर्मा ने गुरुवार को अपने ट्विटर अकाउंट पर एक वीडियो शेयर किया और दावा किया कि लॉकडाउन के दौरान मस्जिद में बड़ी संख्या में लोग नमाज़ पढ़ रहे हैं. अब बीजेपी सांसद के इस दावे को दिल्ली पुलिस ने झूठा करार दिया है. हालांकि दिल्ली पुलिस ने जब उन्हें ट्विटर पर जवाब दिया तो उन्होंने कुछ देर बाद अपना ट्वीट डिलीट कर लिया.


डीसीपी ईस्ट दिल्ली की ओर से प्रवेश वर्मा के ट्वीट पर जवाब दिया गया, "ये पूरी तरह से झूठ है. अफवाह फैलाने के लिए दुर्भावनापूर्ण इरादे से इस पुराने वीडियो का इस्तेमाल किया जा रहा है. कृपया कर अफवाह फैलाने और पोस्ट करने से पहले तथ्यों की जांच कर लिया करें."



(प्रवेश वर्मा के ट्वीट पर दिल्ली पुलिस का जवाब)

प्रवेश वर्मा ने अपने ट्वीट में दावा किया था, "कोई भी धर्म कोरोना वायरस के चलते इन हरकतों की इजाज़त देता है? लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंसिंग की पूर्ण तरह से धज्जियां उड़ा दीं. जिन मौलवियों  की तनख्वाहें बढ़ा रहे थे केजरीवाल, उनकी तनख्वाहें काट दो, ये हरकतें अपने आप रुक जाएंगी या आपने दिल्ली को नष्ट करने की कमस खा ली है?"



(बीजेपी सांसद प्रवेश वर्मा के ट्वीट का स्क्रीन ग्रैब)

आपको बता दें कि इस वीडियो की पड़ताल एबीपी न्यूज़ ने अपने शो 'सच्चाई का सेंसेक्स में भी की थी. प्रवेश वर्मा के अलावा भी सोशल मीडिया पर इस वीडियो को कई और लोगों ने भी शेयर किया और वही दावा किया जो प्रवेश वर्मा ने किया. हालांकि दिल्ली पुलिस ने साफ कर दिया कि ये वीडियो पुराना है और इसका लॉकडाउन के दौरान नमाज़ पढ़ने से कोई ताल्लुक नहीं है.