One Nation One Election: देश में एक साथ चुनाव कराने की मांग को लेकर युवाओं, शिक्षकों और सुप्रीम कोर्ट के वकीलों ने अपनी आवाज उठाई है. संविधान सपोर्ट ग्रुप की तरफ से शुक्रवार को दिल्ली में एक कार्यक्रम हुआ, जिसमें इस मुद्दे पर चर्चा की गई. दावा है कि इस अभियान के तहत देशभर में सर्वे किया गया और करीब 300 सांसदों से बातचीत भी की गई.
27 मार्च को संसद घेराव का आयोजनसंविधान सपोर्ट ग्रुप की तरफ से 24 और 25 मार्च को दिल्ली के कॉलेजों और विश्वविद्यालयों में जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए गए. साथ ही 26 मार्च को इस विषय को लेकर जंतर-मंतर पर सैंकड़ों युवाओं के अनशन करने की जानकारी है. 27 मार्च को संसद घेराव का आयोजन किया जाएगा जिसकी शुरुआत अंबेडकर मूर्ति से होगी.
अभियान के एक सदस्य देवेंद्र भारद्वाज के अनुसार, देश में बड़े बदलाव हमेशा युवाओं ने किए हैं. हम चाहते हैं कि चुनाव प्रक्रिया को आसान और प्रभावी बनाया जाए. सभी राजनीतिक दलों को इस पर ध्यान देना चाहिए.
वन नेशन वन इलेक्शन पर विचार कर रही JPCजानकारी के लिए बता दें कि लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला द्वारा गठित 39 सदस्यीय संयुक्त संसदीय समिति (JPC) 'वन नेशन, वन इलेक्शन' विधेयक 2024 और केंद्र शासित प्रदेश कानून (संशोधन) विधेयक 2024 पर विचार कर रही है. इस समिति की अध्यक्षता पीपी चौधरी कर रहे हैं. लोकसभा ने मंगलवार को 'वन नेशन, वन इलेक्शन' से जुड़ी संयुक्त संसदीय समिति (JPC) के कार्यकाल को मानसून सत्र 2025 के अंतिम सप्ताह के पहले दिन तक बढ़ाने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है.
समिति के अध्यक्ष पीपी चौधरी ने लोकसभा में 'वन नेशन, वन इलेक्शन' विधेयक 2024 और केंद्र शासित प्रदेश कानून (संशोधन) विधेयक 2024 पर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लिए अतिरिक्त समय मांगा था, जिसे स्वीकार कर लिया गया. अब समिति को तय समय सीमा के भीतर अपनी रिपोर्ट लोकसभा में पेश करनी होगी. यदि ये विधेयक पारित होते हैं, तो देश की चुनावी प्रक्रिया में बड़े बदलाव देखने को मिल सकते हैं.
इस फैसले से स्पष्ट संकेत मिलते हैं कि सरकार एक साथ चुनाव कराने की दिशा में गंभीरता से काम कर रही है. संविधान सपोर्ट ग्रुप के जरिए देश के युवाओं को चुनावी सुधारों को लेकर जागरूक किया जा रहा है जो इसमें सक्रिय भूमिका निभाना चाहते हैं.
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