नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी (आप) ने आज कहा कि सेवाओं - नौकरशाहों के तबादले और उनकी तैनाती के मुद्दे पर दिल्ली के उपराज्यपाल को केंद्र की सलाह बेहद गुमराह करने वाली है. पार्टी ने कहा कि इसका लक्ष्य दो संवैधानिक प्राधिकारों के बीच सत्ता संघर्ष पर सुप्रीम कोर्ट के आदेश में विलंब करना है. केंद्रीय गृहमंत्रालय ने उपराज्यपाल अनिल बैजल को सेवाओं से संबंधित मामलों पर अंतिम निर्णय नहीं लेने की सलाह दी है क्योंकि इस मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला लंबित है.

पार्टी ने एक बयान में कहा , ‘‘उच्चतम न्यायालय की पांच सदस्यीय संवैधानिक पीठ पर गृहमंत्रालय का दृष्टिकोण बिल्कुल गुमराह करने वाली है और उसका उद्देश्य कानून के शासन को ध्वस्त करना है.’’

उसने कहा , ‘‘जैसा कि गृहमंत्रालय ने कहा है कि दिल्ली के उपराज्यपाल को गृहमंत्रालय की सलाह केंद्रीय विधि मंत्रालय की सलाह पर आधारित है जो उच्चतम न्यायालय के ऐतिहासिक फैसले के क्रियान्वयन में देरी करने की मंशा से जानबूझकर दुष्प्रचार करने की स्पष्ट कोशिश है. ’’