Marriage Rituals: शादी के बाद हिंदू धर्म में लड़कियों को काले रंग की चूड़ियां पहनाई जाती है. जिसे सवा महीने, 6 माह या सवा साल तक उसे पहने रखना होता है. लेकिन काला रंग तो किसी भी शुभ कार्य में नहीं पहना जाता है, तो फिर शादी के बाद दुल्हन को काले रंग की चूड़ियां क्यों पहनाई जाती है यह बड़ा सवाल है? तो चलिए आज हम आपको बताते हैं कि शादी के बाद दुल्हन को काली चूड़ियां क्यों पहनाई जाती है और उसके पीछे का महत्व क्या है.

 

दुल्हन को क्यों पहनाई जाती है काली चूड़ी

- शादी में दुल्हन को काली चूड़ी पहनाई जाती है. यह चूड़ी मेटल या प्लास्टिक की नहीं बल्कि कांच की होनी चाहिए, क्योंकि कांच को हिंदू धर्म में शुभ माना गया है. 

 

- कहा जाता है कि दुल्हन के काली रंग की चूड़ी पहनने से नकारात्मक ऊर्जा दूर रहती है और दुल्हन को किसी की नजर भी नहीं लगती है. 

 

- दुल्हन के काली रंग की चूड़ी सवा महीने, 6 महीने या सवा साल तक पहने रहने से घर में आर्थिक समस्या भी नहीं आती है और दुल्हन के आने से बरकत आती है. 

 

- ये तो हम सभी जानते हैं कि काला रंग नजर से बचाता है. ऐसे में दुल्हन के काली चूड़ियां पहनने से पति-पत्नी को दूसरों की नजर नहीं लगती है और रिश्ते में खटास भी नहीं आती है.

 

काली चूड़ी पहने के दौरान सावधानियां

अगर दुल्हन सवा महीने, 6 महीने या सवा साल तक काली चूड़ी पहन रही है, तो याद रखें कि कभी भी दुल्हन का हाथ खाली ना हो, चूड़ी टूटने से पहले उसे दूसरी चूड़ी पहन लेनी है. वो चाहे तो 1-2 चूड़ी पहनकर इसे सवा साल तक पहन सकती हैं. चूड़ी को पहनने के बाद उन्हें ठंडा करने का विशेष महत्व होता है. यह काली चूड़ियां किसी को भी देनी नहीं चाहिए. ना हू कूड़े में फेंकनी चाहिए. इसे किसी पवित्र नदी में बहा देना चाहिए.

 

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