Sankashti Chaturthi Sep 2020: संकष्टी चतुर्थी का दिन बेहद पवित्र दिन माना गया है. पौराणिक कथाओं के अनुसार गण्ोश जी को सभी देवों में प्रथम देवता होने का गौरव प्राप्त है. इसीलिए शुभ कार्य को आरंभ करने से पहले भगवान गणेश का स्मरण किया जाता है. मान्यता है कि गणेश जी को याद करने से आने वाली बाधाएं दूर हो जाती हैं और कार्य में सफलता प्राप्त होती है.

गणेश पूजा का महत्व गणेश पूजा सभी प्रकार विघ्नों को दूर करने वाली मानी गई है. गणेश जी का एक नाम विघ्नहर्ता भी है. गणेश जी को बुद्धि और विवेक का दाता माना गया है. संकष्टी के दिन व्रत भी रखा जाता है. इस दिन गणेश जी की पूजा जीवन में सुख समृद्धि प्रदान करती है. इस दिन चंद्र दर्शन करना चाहिए. चंद्र दर्शन करने से जीवन से नकारात्मकता का नाश होता है और सभी प्रकार की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं.

गणेश आरती जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा. माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा. एकदन्त दयावन्त, चार भुजाधारी. माथे पर तिलक सोहे, मूसे की सवारी. पान चढ़े फूल चढ़े, और चढ़े मेवा. लड्डुअन का भोग लगे, सन्त करें सेवा. जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा. माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा. अँधे को आँख देत, कोढ़िन को काया. बाँझन को पुत्र देत,निर्धन को माया. सूर श्याम शरण आए, सफल कीजे सेवा. माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा. दीनन की लाज राखो, शम्भु सुतवारी. कामना को पूर्ण करो, जग बलिहारी. जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा. माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा.

गणेश जी को इन मंत्रों से करें प्रसन्न 1- ॐ गं गणपतये नम: 2- वक्रतुण्ड महाकाय कोटिसूर्य समप्रभ। निर्विघ्नं कुरू मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा।। 3- ॐ एकदन्ताय विद्धमहे, वक्रतुण्डाय धीमहि, तन्नो दन्ति प्रचोदयात्॥

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