Mauni Amavsaya 2022 : शास्त्रों में अमावस्या की तिथि को विशेष बताया गया है. माघ मास की कृष्ण पक्ष में पड़ने वाली अमावस्या की तिथि को मौनी अमावस्या के नाम से जाना जाता है. सभी अमावस्या की तिथियों में मौनी अमावस्या का विशेष धार्मिक महत्व बताया गया है. इसे माघी अमावस्या भी कहा जाता है. इस तिथि पर पवित्र नदी में स्नान करना अत्यंत शुभ माना गया गया है. इस दिन गंगा स्नान का विशेष महत्व है. 


गंगा नदी का जल बन जाता है अमृत
मौनी अमावस्या को लेकर धार्मिक मान्यता है कि इस तिथि पर गंगा नदी का जल अमृत के समान हो जाता है. इस दिन गंगा में स्नान करने से सभी पाप मिट जाते हैं. साथ ही, निरोगी काया प्राप्त होती है और मृत्यु के बाद मोक्ष की प्राप्ति होती है. 


मौनी अमावस्या, शुभ मुहूर्त (Mauni Amavasya 2022 Tithi And Muhurat)
पंचांग के अनुसार 5 दिन बाद अमावस्या की तिथि है. हिंद कैलेंडर के मुताबिक माघ माह की कृष्ण पक्ष की अमावस्या की तिथि 31 जनवरी 2022, सोमवार को देर रात 02 बजकर 18 मिनट पर शुरू होगी और 01 फरवरी 2022, मंगलवार को प्रात: 11 बजकर 15 मिनट पर समाप्त होगी. शास्त्रों के अनुसार इस दिन सूर्योदय के समय स्नान करना उत्तम माना गया है. मौनी अमावस्या का पर्व 01 फरवरी 2022 को मनाया जाएगा.


मौनी अमावस्या का महत्व
शास्त्रों के अनुसार मौनी अमावस्या के दिन व्रत रखा जाता है. इस दिन मौन व्रत का विशेष महत्व बताया गया है. विद्वानों के अनुसार मौन व्रत का अर्थ स्वंय के अंतर्मन में झांकना, ध्यान करना और प्रभु की भक्ति में लीन होने से है. धार्मिक मान्यता है कि मौन व्रत रखने से आध्यात्मिक चेतना का विकास  होता है. इसके अलावा इस दिन पितरों का तर्पण, श्राद्ध, पिंडदान आदि कर्म भी किए जाते हैं.


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