ब्रिस्टल: पशुओं में कोरोना वायरस के फैलने और नए स्वरूप में मनुष्यों में इसके प्रसार को रोकने के लिए पालतू पशुओं को मारने या उनका टीकाकरण करने पर मंत्री विचार कर सकते हैं. ये सुझाव हाल ही में आया है, जिससे लोगों के बीच अचानक चिंता पैदा हो गई है. लेकिन ये बहस वैज्ञानिकों के बीच लंबे समय से चली आ रही है क्योंकि ऐसे सबूत पाए गए कि वुहान से फैले कोरोना वायरस से बिल्लियां भी संक्रमित हो सकती हैं.


इतना ही नहीं इस बात का पता भी चला है कि संक्रमित बिल्लियां दूसरी बिल्लियों को भी बीमार कर सकती हैं. डेनमार्क और नीदरलैंड में स्तनधारी जीव मिंक, चिड़ियाघरों की बड़ी बिल्लियों, कुत्तों, नेवले की जाति के एक जानवर और कई अन्य प्रजातियों में भी संक्रमण की पुष्टि हुई. माना जाता है कि कोरोना वायरस चमगादड़ों से फैला और वन्यजीवों की अन्य प्रजातियों को भी संक्रमण का खतरा है. अगर मनुष्यों और बिल्लियों के बीच संक्रमण आसानी से फैलता है तो लोगों में महामारी पर नियंत्रण पाने के लिए कदम उठाना जरूरी हो जाता है.


बिल्लियों से इंसानों में कोरोना संक्रमण के सबूत बहुत कम 


उपाय के तौर पर बिल्लियों को वैक्सीन लगाने और आइसोलेशन में करना भी शामिल हो सकता है. मनुष्यों से बिल्लियों में संक्रमण फैलने के सबूत हैं लेकिन बिल्लियों से मनुष्यों में संक्रमण फैलने के सबूत न के बराबर पाए गए हैं. बिल्लियों में संक्रमण को लेकर चिंता करने की ज्यादा जरूरत नहीं है. बिल्लियों के मुकाबले आपको परिवार और दोस्तों से कोरोना वायरस संक्रमण होने का खतरा अधिक है. हालांकि आपको बिल्लियों से अन्य बीमारियां जैसे टोक्सोप्लास्मोसिस होने का खतरा कम करने के लिए साफ-सफाई के सामान्य एहतियात बरतने चाहिए.


अभी हमारी पालतू बिल्लियों और कुत्तों से कोई बड़ा खतरा नहीं है. लेकिन हो सकता है बाद में संक्रमण के नए स्वरूप आएं. ये भी हो सकता है कि अल्फा और बीटा स्वरूप की तरह आसानी से फैल जाए. अन्य प्रजातियों में कोरोना वायरस का लंबे समय तक खतरा ये है कि अगर वायरस उनमें फैलता है तो एक नया और अप्रिय स्वरूप सामने आ सकता है. हो सकता है लोगों के बीच फैलने तक इस समस्या को पहचाना ही न जा सके. इस खतरे को कम करने और किसी भी नए स्वरूप का पता लगाने के लिए सबसे महत्वपूर्ण तरीका पशुओं की निगरानी करना है.


पालतू जानवरों के टीकाकरण की संभावना बहुत कम है


इसलिए आपका पशु चिकित्सक पालतू पशु को श्वसन संबंधी दिक्कत होने पर उसकी लार का नमूना लाने को कहें और आपको भी नमूना देने को कहा जाए तो हैरान होने की जरूरत नहीं. पालतू जानवरों के टीकाकरण की संभावना बहुत कम है. कुत्तों और बिल्लियों के लिए कोविड-19 रोधी वैक्सीन विकसित की जा रही है. लेकिन मनुष्यों की तरह ही कुत्तों और बिल्लियों में संक्रमण की दर कम होने के कारण वैक्सीन का ट्रायल करना मुश्किल होगा और कम ट्रायल से अच्छे नतीजे नहीं निकलेंगे.


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