डीआरडीओ का एक और मारक अस्त्र, चैप रॉकेट तकनीक से दुश्मनों के रडार को देंगे चकमा

चैफ रॉकेट को दागे जाने के बाद एक समय अंतरिक्ष में माइक्रोवेव का अस्पष्ट बादल बन जाता है जिसके कारण रेडियो फ्रीक्वेंसी को पकड़े जाने के खतरों के खिलाफ एक प्रकार का कवच-निर्माण होता है.

डीआरडीओ ने भारतीय सेना को मजबूत बनाने के लिए कई बेहतरीन काम किए हैं. इसी क्रम में हाल में ही डीआरडीओ ने माइक्रोवेव ऑब्स्क्यूरेंट चैफ रॉकेट को भारतीय नौसेना को सौंपा हैं. ये एक अलग तरह के तकनीक

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