OTT Streaming Growth: भारत का मीडिया और एंटरटेनमेंट वक्त के साथ-साथ बदलता जा रहा है. ओटीटी प्लेटफॉर्म्स लोगों की पहली पसंद बनते जा रहे हैं और पारंपरिक टेलीविजन देखने वालों की संख्या घट रही है. डिजिटल स्ट्रीमिंग लगातार अपना पैर पसार रही है. ऑर्माक्स मीडिया की ओटीटी ऑडियंस रिपोर्ट 2025 के मुताबिक भारत देश में ओटीटी को इस्तेमाल करने वालों की संख्या 60 करोड़ से ज्यादा हो चुकी है. इनमें से 14.82 करोड़ एक्टिव पेड सब्सक्रिप्शन है. आपको बता दें कि इन सब्सक्रिप्शन में टेलीकॉम प्रोवाइड और ओटीटी एग्रीगेटर के जरिए दिए गए सब्सक्रिप्शन भी शामिल हैं.
हालांकि, रिपोर्ट में इस बात का भी जिक्र है कि ओटीटी इस्तेमाल करने वाले लोगों की वृद्धि दर लगभग 10% है. यह पिछले सालों की तुलना में थोड़ी धीमी है. इसके अलावा पिछले 1 साल में कनेक्टेड टीवी को इस्तेमाल करने वाले लोगों में 87% की बढ़ोतरी देखने को मिली और अब 12.92 करोड़ लोग अपने टीवी पर ओटीटी कंटेंट को देख रहे हैं.
पारंपरिक टीवी दर्शकों की संख्या में गिरावट
लाइनर या फिर पारंपरिक टीवी के लोकप्रियता में भी काफी ज्यादा गिरावट देखने को मिल रही है. आपको बता दें कि अब सिर्फ 25% लोग ही मनोरंजन के लिए पारंपरिक टीवी पर निर्भर हैं. इसी के साथ 23% लोग सिर्फ डिजिटल प्लेटफॉर्म के जरिए कंटेंट देखते हैं और यह बदलाव सभी आयु, क्षेत्र और सामाजिक आर्थिक वर्गों में देखने को मिल रहा है.
क्या है पारंपरिक टीवी के लोकप्रियता में गिरावट के कारण
दरअसल अब लोग किसी भी समय और कहीं भी कंटेंट को देख सकते हैं. इसी के साथ ओटीटी प्लेटफार्म पर अलग-अलग तरह के कंटेंट मिलते हैं. इनमें अंतरराष्ट्रीय, क्षेत्रीय और खास कैटेगरी भी शामिल होती हैं. इतना ही नहीं बल्कि कई प्लेटफार्म प्रीमियम सब्सक्रिप्शन को भी प्रदान करते हैं, जिनकी मदद से एडवर्टाइजमेंट आदि की सभी रुकावट खत्म हो जाती हैं.
पेड टीवी सब्सक्रिप्शन बेस में गिरावट
पिछले 6 सालों में भारत में पेड टीवी में काफी ज्यादा गिरावट देखने को मिली है. AIDCF और EY इंडिया के मुताबिक, 2018 में इन सब्सक्राइबर की संख्या 151 मिलियन थी. 2024 में यह संख्या 111 मिलियन ही रह गई है. यानी कि 40 मिलियन घरों ने पिछले 6 सालों में पेड टीवी को देखना बंद कर दिया है.
यह भी पढ़ें: यहां लड़के से पहले खंजर से शादी करती है लड़की, बारात में दूल्हे की जगह जाता है 'छुरा'