इंसान जब पैदा होता है तो उसका दिमाग बिल्कुल कोरा कागज होता है. यानी समय के साथ धीरे-धीरे वह चीजों को सीखता है. जैसे चलना, बोलना, समझना और बहुत कुछ... बच्चा एक समय के बाद ही करने में सक्षम होता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि आपका बच्चा रंगों को कब पहचानना शुरू करता है. शायद नहीं जानते होंगे. आप अकेले ऐसे नहीं हैं बल्कि 90 फ़ीसदी ऐसे मां-बाप हैं जिन्हें यह नहीं पता होता है कि उनका बच्चा रंगों को कब पहचानना शुरू करता है. आज इस आर्टिकल में हम आपको उसी के बारे में बताएंगे. इसके साथ ही यह भी बताएंगे कि आपका बच्चा कब घुटनों के बल चलना शुरू करता है और वह कब बोलना शुरू करता है.
चरणबद्ध तरीके से होता है बच्चों में विकास
बच्चों में विकास एक चरणबद्ध प्रक्रिया के तहत होता है. जैसे ज्यादातर बच्चे 8 महीने की उम्र में घुटनों के बल चलना शुरू कर देते हैं. वहीं 11 से 18 महीने की उम्र के बीच बच्चों में आंख, हाथ, पैर और शरीर के बीच का तालमेल बैठाना आने लगता है. 10 से लेकर 24 महीने के बीच बच्चे बोलना शुरू कर देते हैं. लेकिन रंग को पहचानने की उनकी उम्र आपके अंदाजे से बहुत पहले शुरू हो जाती है. सामान्य तौर पर 5 महीने की उम्र में ही बच्चे रंगों को पहचान शुरू कर देते हैं.
पैदा होने के बाद बच्चों के लिए कैसी होती है दुनिया
रिसर्च बताते हैं कि पैदा होने के तुरंत बाद बच्चों को हर तरह के रंग नहीं दिखाई देते, बल्कि उन्हें दुनिया सिर्फ सफेद और काले रंग में दिखाई देती है. ज्यादातर चीजों को वह ग्रे शेड में देखते हैं. लेकिन 4 महीने की उम्र तक धीरे-धीरे उनके दिमाग में रंगों को लेकर एक वजन डिवेलप होने लगता है. यानी 4 महीने से पहले का बच्चा अगर आपको देख रहा है तो इसका मतलब है कि आप उसे सिर्फ ब्लैक एंड वाइट में नजर आ रहे हैं.
पैदा होने के बाद सबसे पहला रंग उन्हें कौन सा दिखाई देता है
नवजात बच्चों को सबसे पहले काला और सफेद के साथ-साथ ग्रे शेड नजर आता है. लेकिन अगर रंग-बिरंगे रंगों में बात करें तो बच्चों को सबसे पहले लाल रंग की पहचान होती है. इसके बाद धीरे-धीरे वह रंगों में अंतर करना शुरू कर देते हैं. 4 महीने की उम्र तक बच्चे हरे और लाल रंग में फर्क कर लेते हैं. जबकि 5 महीने के बाद के बच्चे अलग-अलग रंगों के शेड पहचानने लगते हैं. धीरे धीरे उम्र के साथ उन्हें हर तरह के रंगों की पहचान होने लगती है.
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