Kunal Goswami: कुछ सालों में कई अभिनेता और अभिनेत्रियों ने रुपहली दुनिया में कदम रखा है. उनमें से कुछ बड़ी सफलता के साथ स्टार बन गए. जबकि कुछ लाइमलाइट से बाहर हो गए. ऐसे भी उदाहरण हैं जहां देखा गया है कि कइयों ने शोहरत की दुनिया छोड़कर कहीं और करियर बना लिया, जहां वह सक्सेसफुल रहे हैं. इसी लिस्ट में अभिनेता कुणाल गोस्वामी भी शामिल हैं. कई लोग इस अभिनेता को भूल गए होंगे. हालांकि उनकी एक और पहचान है. कुणाल असल में बॉलीवुड के कभी महान अभिनेता रहे मनोज कुमार के बेटे हैं! एक्टिंग करियर छोड़ने के बाद अब वह क्या कर रहे हैं और कैसे हैं?

तीन फिल्में का मिला ऑफर

अस्सी के दशक में किशोर कुमार का गाना 'नीले-नीले अंबर पर चांद जब आए...' सुपरहिट हुआ था. यह गाना लोगों को अक्सर दोहराते हुए देखा गया और कुणाल इस गाने में हीरो के तौर पर नजर आए थे. सुनने में आया है कि मनोज कुमार ने अपने बेटे को अभिनेता बनाने के लिए को कोर कसर नहीं छोड़ा. वह बचपन से ही अपने पिता के साथ शूटिंग देखा करते थे. नतीजतन, उन्हें इस मामले में दिलचस्पी थी. उन्होंने अठारह साल की उम्र में बॉलीवुड में अपनी शुरुआत की. कुणाल ने अपने पिता और अन्य वरिष्ठ अभिनेताओं के साथ 'क्रांति' से अपनी शुरुआत की. वह बॉलीवुड में काफी नाम कमाने में सफल रहे. उसके बाद उन्हें एक साथ 3 फिल्मों के ऑफर मिले. ये तीनों फिल्में 1983 में एक साथ रिलीज हुई थीं. उनमें से एक था 'कलाकार' जहां उन्हें श्रीदेवी के साथ देखा गया था. फिल्म का गाना 'नीले-नीले अंबर पर चांद जब आए...' सुपरहिट रहा लेकिन फिल्म फ्लॉप रही. इतना ही नहीं, इसके अलावा उस साल रिलीज हुई कुणाल की अन्य दो फिल्में भी सफलता हासिल करने में असफल रहीं. जिसका असर उनके करियर पर पड़ता है.

दरअसल मनोज कुमार अपने बेटे को अपने जैसा स्टार बनाना चाहते थे, लेकिन उनका ये सपना कामयाब नहीं हो पाया. क्योंकि कुणाल के एवरेज लुक्स और एक्टिंग को फैंस ने कुछ खास पसंद नहीं किया. इसके बाद 1986 में दोबारा एक्टिंग करने का मौका आया. फिल्म 'रिकी' में काम किया, लेकिन यह फ्लॉप रही. 1989 में उन्होंने गोविंदा के साथ फिल्म 'आखिरी बाजी' में दोबारा काम किया. हालांकि फिल्म सफल रही, लेकिन गोविंदा ने सारी लाइमलाइट चुरा ली. उसके बाद कुणाल ने 1990, 1991 और 1999 में कुछ फिल्में की लेकिन सफल नहीं रहे. मनोज कुमार का अपने बेटे को सुपरस्टार बनाने का सपना बुरी तरह विफल होता रहा. उसके बाद मनोज कुमार के बेटे ने टेलीविजन में करियर बनाने की कोशिश की. ऐसे में असफलता भी हाथ लगती है. नतीजा ये हुआ कि कुणाल ने एक्टिंग को पूरी तरह से अलविदा कह दिया.

क्या करते हैं कुणाल गोस्वामी

नियति को शायद उनके लिए कुछ और ही मंजूर था! पूर्व अभिनेता ने अपने फिल्मी करियर के लड़खड़ाने के बाद खानपान का व्यवसाय शुरू किया. जहां वह 'सुपरहिट' रहे! उन्होंने दिल्ली में रेस्टोरेंट बिजनेस की शुरुआत की थी. उनके लिए किस्मत न जाने क्या तय कर रखा है! धीरे-धीरे वे कैटरिंग बिजनेस के बादशाह बन गए. कुणाल गोस्वामी फूड कंपनियों में से एक के मालिक बन गए. वर्तमान में उनकी आय करोड़ों रुपये है और आज वह अभिनय की दुनिया को छोड़कर अपने खुद के व्यापारिक साम्राज्य में सफल हैं!

ये भी पढ़ें: टी-सीरीज के प्रोड्यूसर Vinod Bhanushali के घर-दफ्तर पर IT की रेड, टैक्स चोरी का है आरोप