Lok Sabha Election 2024: लोकसभा चुनाव 2023 के लिए समाजवादी पार्टी ने अब तक 27 उम्मीदवारों का एलान किया है. अखिलेश यादव ने दो सूचियां जारी कर अपने उम्मीदवारों के नाम बताए हैं. पहली सूची में 16 और दूसरी सूची में 11 उम्मीदवारों के नाम शामिल थे. दूसरी सूची में रामपाल राजवंशी का नाम भी शामिल है. उन्हें मिश्रिख लोकसभा सीट से टिकट दिया गया है. अगर बीजेपी इस सीट पर अपने वर्तमान सांसद को टिकट देती है तो यहां दो करीबी रिश्तेदारों के बीच मुकाबला हो सकता है.


इस सीट पर मौजूदा सांसद बीजेपी के अशोक रावत हैं. अशोक और रामपाल राजवंशी करीबी रिश्तेदार हैं. इस बार बीजेपी ने अपने प्रत्याशी का एलान नहीं किया है, लेकिन पूरी संभावना है कि मौजूदा सांसद को फिर से मौका मिलेगा और इस सीट पर दोनों रिश्तेदारों के बीच मुकाबला होगा.


कौन हैं रामपाल राजवंशी?
समाजवादी पार्टी के पुराने नेता रामपाल राजवंशी दो बार मंत्री रह चुके हैं. वह 1996 में लोक जनशक्ति पार्टी के टिकट पर मिश्रिख विधानसभा सीट से पहली बार विधायक बने थे. इसके बाद उन्हें वैकल्पिक ऊर्जा राज्य मंत्री बनाया गया था. 2007 में वह समाजवादी पार्टी के साथ जुड़े और चुनाव लड़कर फिर विधायक बने. 2012 में भी समाजवादी पार्टी के टिकट पर उन्हें जीत मिली और अखिलेश सरकार में वह कारागार राज्य मंत्री चुने गए. इसके बाद 2017 और 2022 में मिश्रिख सीट पर ही उन्हें हार झेलनी पड़ी. अब अखिलेश ने लोकसभा चुनाव में उन पर दांव खेला है.


क्या है मिश्रिख की स्थिति?
मिश्रिख लोकसभा सीट के अंतर्गत चार विधानसभा सीट आती हैं. मिश्रिख, बिल्हौर, संडीला बिलग्राम मल्लावां और बालामऊ. इन सभी सीटों पर भारतीय जनता पार्टी का कब्जा है. यहां सांसद भी बीजेपी के ही हैं. ऐसे में लगातार दो बार विधानसभा चुनाव हारने वाले रामपाल के लिए लोकसभा की राह आसान नहीं होगी, लेकिन वह पासी समुदाय के बड़े नेता हैं और उन्हें इसका फायदा मिल सकता है.


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