मध्यप्रदेश स्कूल शिक्षा विभाग ने 20 सितंबर से राज्य में स्कूलों को फिर से खोलने की घोषणा की है. आधिकारिक आदेशों के अनुसार कक्षा 1 से 5 तक

  के स्कूल  50 प्रतिशत क्षमता के साथ फिर से खुलेंगे, जबकि कक्षा 8वीं 10वीं और 12वीं कक्षा के लिए स्कूल 100 प्रतिशत छात्र क्षमता के साथ फिर से खोले जाएंगे.  बोर्ड ने 11वीं क्लास के लिए भी स्कूल और 50 प्रतिशत क्षमता वाले छात्रों के लिए हॉस्टल या रेजिडेंशियल स्कूलों को फिर से खोलने की योजना की भी घोषणा की है. इस दौरान कोविड प्रोटोकॉल का पालन अनिवार्य किया गया है.


ऑफलाइन क्लासेज के लिए अभिभावकों की अनुमति जरूरी
मध्य प्रदेश स्कूल शिक्षा विभाग ने आधिकारिक आदेश के माध्यम से कहा कि छात्रों को उनके माता-पिता की अनुमति के बाद ही ऑफलाइन कक्षाओं में शामिल होने की अनुमति दी जाएगी.सभी स्कूलों के लिए यह अनिवार्य है कि वे COVID-19 प्रोटोकॉल का पालन करें और यह सुनिश्चित करें कि स्कूलों में सरकार द्वारा घोषित मानक संचालन प्रक्रियाओं (SOPs) का पालन किया जाए.



इसके साथ ही आधिकारिक नोटिस में ये भी क्लियर किया गया है कि ऑफलाइन कक्षाओं के लिए छात्रों की उपस्थिति अनिवार्य नहीं है और स्टूडेंट्स को अपने माता-पिता की अनुमति और उनकी सहमति से स्कूलों में उपस्थित होना होगा.



कोविड-19 प्रोटोकॉल का उल्लंघन करने पर स्कूल होंगे दंडित
ऑफ़लाइन कक्षाओं के साथ-साथ छात्रों के लिए ऑनलाइन क्लासेज का ऑप्शन भी जारी रहेगा और राज्य में कोविड-19 प्रसार के जोखिम को कम करने के लिए टीकाकरण प्रक्रिया भी तेज होगी. इसके साथ ही आदेश में कहा गया है कि अगर स्कूल कोविड-19 प्रोटोकॉल का उल्लंघन करेंगे और लापरवाही बरतेंगे तो स्कूलों को दंडित किया जाएगा.इसके साथ ही स्कूलों को फिर से खोलने से पहले जिला आपदा प्रबंधन समिति की सहमति भी लेनी होगी.


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