Patel Engineering Shares: पटेल इंजीनियरिंग लिमिटेड (Patel Engineering Limited) के शेयर गुरुवार 27 नवंबर को फोकस में रहेंगे क्योंकि कंपनी को कई बड़े ऑर्डर मिले हैं. बुधवार को मार्केट खुलने के बाद कंपनी ने एक्सचेंज फाइलिंग में बताया कि उसे सैडेक्स इंजीनियर्स एंड इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड (Saidax Engineers and Infrastructure Private Limited) से दो ऑर्डर मिले हैं.

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क्या है ऑर्डर? 

798.19 करोड़ रुपये के इस ऑर्डर में खुदाई से लेकर कम्पोजिट, रीहैंडलिंग से लेकर ओवरबर्डन को हटाने के काम शामिल हैं. इसके अलावा, सरफेस माइनर से कोयले की कटिंग, लोडिंग और ट्रांसपोर्टेशन के साथ-साथ प्लांट और जरूरी इक्विपमेंट को किराए पर लेना, मेनटेनेंस, डीजल की सप्लाई भी करनी होगी. इस पूरे काम को करने के लिए जरूरी स्टाफ और लेबर भी ऑर्डर का हिस्सा है.  

कब तक पूरा करना होगा काम?

ऑर्डर का टाइम पीरियड नौ साल है यानी कि कंपनी को यह पूरा काम नौ साल के भीतर निपटाना है. कंपनी ने यह भी बताया कि प्रमोटर या प्रमोटर ग्रुप की कंपनियां इस ऑर्डर का हिस्सा नहीं है.

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इस पर बात करते हुए कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर कविता शिरवाइकर ने कहा, "ये नए प्रोजेक्ट्स हमारे बड़े पैमाने पर किए जाने वाले इंफ्रास्ट्रक्चर के कामों का एक नैचुरल एक्सटेंशन हैं, जो और नए रास्ते भी खोलते हैं. खास बात यह है कि यह काम 34,000 करोड़ से ज्यादा के एक मजबूत टेंडर के अलावा है, जिसके लिए पहले ही बोली लग चुकी है और अब जिसका वैल्यूऐशन चल रहा है. साथ ही इस फाइनेंशियल ईयर के खत्म होने से पहले 18,000 करोड़ की भी बोली लगने की उम्मीद है."

दूसरी तिमाही में कंपनी का प्रदर्शन

कारोबारी साल 2026 की दूसरी तिमाही में पटेल इंजीनियरिंग का ऑपरेशन से कंसोलिडेटेड रेवेन्यू 1,208 करोड़ रुपये रहा, जो साल 2025 की सितंबर तिमाही के 1,174 करोड़ रुपये से 2.91 परसेंट ज्यादा है.

कंपनी का कंसोलिडेटेड ऑपरेटिंग EBITDA पिछले साल के 162 करोड़ के मुकाबले 2 परसेंट की मामूली गिरावट के साथ159 करोड़ रुपये रहा. इसके चलते, ऑपरेटिंग EBITDA मार्जिन पिछले साल के 13.81 परसेंट से घटकर इस बार 13.31 परसेंट रह गया, जबकि नेट प्रॉफिट भी एक साल पहले के 80.7 करोड़ से घटकर 77 करोड़ हो गया.

कंपनी के पास ऑर्डर 

जुलाई से सितंबर तिमाही के आखिर तक कंपनी का ऑर्डर बुक 15,146 करोड़ रुपये का रहा, जिसमें 62 परसेंट प्रोजेक्ट्स हाइड्रोइलेक्ट्रिक सेगमेंट के थे. कंपनी के पास अभी 9,373 करोड़ के 16 हाइड्रोइलेक्ट्रिक प्रोजेक्ट हैं, जिनमें सुबनसिरी HEP (2,000 MW), दिबांग मल्टीपर्पस प्रोजेक्ट (2,880 MW), किरू HEP (624 MW), अरुण-III HE प्रोजेक्ट (900 MW), शोंगटोंग HEP (450 MW), और क्वार HEP (540 MW) जैसे वेंचर्स शामिल हैं.

 

डिस्क्लेमर: (यहां मुहैया जानकारी सिर्फ़ सूचना हेतु दी जा रही है. यहां बताना जरूरी है कि मार्केट में निवेश बाजार जोखिमों के अधीन है. निवेशक के तौर पर पैसा लगाने से पहले हमेशा एक्सपर्ट से सलाह लें. ABPLive.com की तरफ से किसी को भी पैसा लगाने की यहां कभी भी सलाह नहीं दी जाती है.)

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