Pakistan Inflation: पाकिस्तान का उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (सीपीआई) जुलाई में साल दर साल 24.9 फीसदी बढ़ा, जबकि एक साल पहले इसी महीने में यह 8.4 फीसदी था. पाकिस्तान सांख्यिकी ब्यूरो (पीबीएस) के आंकड़ों के मुताबिक महीने-दर-महीने आधार पर, जुलाई में सीपीआई में 4.3 फीसदी की वृद्धि हुई, जबकि जून के पिछले महीने में 6.3 फीसदी की वृद्धि हुई थी.
पाकिस्तान में खाने-पीने के सामान के दाम बेतहाशा बढ़ेसमाचार एजेंसी शिन्हुआ ने पीबीएस के हवाले से बताया कि पाकिस्तान में उच्च महंगाई दर, खाना पकाने के तेल, सब्जियां, दाल, गेहूं, चावल, दूध, बिजली शुल्क, मोटर ईंधन, निर्माण इनपुट आइटम और मोटर वाहन सामान सहित खाद्य और गैर-खाद्य पदार्थो की बढ़ती कीमतों से जुड़ी है.
हाल ही में पाकिस्तान सरकार ने पेट्रोल 3.05 रुपये प्रति लीटर सस्ता कियादेश में बढ़ती महंगाई को नियंत्रित करने के लिए पाकिस्तान सरकार ने रविवार को पेट्रोल की कीमत में 3.05 रुपये प्रति लीटर की कमी करने की घोषणा की. हालांकि, आर्थिक विशेषज्ञों का कहना है कि भारी कटौती का देश में आसमान छूती महंगाई पर बहुत कम असर पड़ेगा.
स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान ने क्या कहा था इससे पहले जुलाई में, स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान ने महत्वपूर्ण सप्लाई में कमी के कारण 2023 के चालू वित्तीय वर्ष के दौरान महंगाई दर के उच्च स्तर पर रहने का अनुमान पहले ही लगा दिया था, साथ ही स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान ने कहा था कि 2024 के वित्तीय वर्ष में मुद्रास्फीति की दर में तेजी से गिरावट आएगी.
पड़ोसी देशों में हालात हैं गंभीरजैसा कि भारत के पड़ोसी देश श्रीलंका में पहले ही महंगाई का चरम देखा गया और यहां लोगों को खाने-पीने और रोजाना के कामों के लिए भी पैसों की किल्लत का सामना करना पड़ा, कुछ वैसे ही हालात पड़ोसी देश पाकिस्तान में भी होते दिखाई दे रहे हैं. लोगों के लिए रोजमर्रा की वस्तुओं को खरीदना एक बड़ा काम हो गया है और पाकिस्तान में इसको लेकर विरोध प्रदर्शन भी चालू हैं. यहां की सत्तारूढ़ शहबाज शरीफ की सरकार के खिलाफ पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान जबरदस्त प्रदर्शन कर रहे हैं.
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