Zerodha Office: लोकप्रिय ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म जेरोधा के फाउंडर नितिन कामथ (Nitin Kamath) ने अपने ही ऑफिस पर पुलिस का छापा (Police Raid) पड़वा दिया था. पुलिस ने ऑफिस (Zerodha Office) में आकर कहा कि नितिन कामत धोखेबाज है. इससे पूरे ऑफिस में सनसनी फैल गई थी और कर्मचारी फूट-फुट कर रोए थे. हालांकि, यह पुलिस नकली थी. इसमें कन्नड़ अभिनेताओं को पुलिस के रोल में लिया गया था. नितिन कामत ने अपने कर्मचारियों के साथ जबरदस्त मजाक किया था. इस पूरे प्रेंक की वीडियोग्राफी भी हुई. इसके बाद नितिन कामत और निखिल कामत (Nikhil Kamat) ने सामने आकर कर्मचारियों को इस मजाक के बारे में जानकारी दी थी.


नकली पुलिसवालों ने कहा कि तुम्हारा धोखेबाज फाउंडर भाग गया


एवलॉन लैब्स (Avalon Labs) के सीईओ और संस्थापक वरुण मय्या (Varun Mayya) के पॉडकास्ट के दौरान नितिन कामत ने इस मजाक के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि इन कन्नड़ अभिनेताओं ने कमाल का काम किया. हमने इस प्रैंक का पूरा वीडियो बनाया था. इन नकली पुलिसवालों ने ऑफिस में आकर कहा कि तुम्हारा फाउंडर धोखेबाज है और वह भाग गया है. इसके बाद कर्मचारियों की प्रतिक्रिया देखने लायक थी. हमारा लगभग आधा ऑफिस आंसुओं में डूबा था. किसी ने कभी नहीं सोचा था कि एक स्‍टॉक ब्रोकर ऐसा मजाक भी कर सकता है. 






देखना चाहते थे कि टीम कैसे झेलती है तनाव को 


पॉडकास्ट के दौरान नितिन कामथ ने कहा कि हम देखना चाहते थे कि हमारी टीम तनाव में कैसे रिएक्‍ट करती है. वीडियो में दिख रहा है कि नकली पुलिस एक हाई कोर्ट के फर्जी आदेश को कर्मचारियों को दिखाती है. यह लोग कर्मचारियों को काम बंद करने का निर्देश भी देते हैं. इस दौरान कुछ कर्मचारी पुलिसवालों से बात करने की कोशिश भी करते हैं. अंत में नितिन कामत और निखिल कामत आकर मजाक का खुलासा करते हैं. एक कर्मचारी जो उस नकली रेड के दौरान मौजूद था, उसने वीडियो पर लिखा है कि आज इसे आराम से बैठकर देख और हंसा जा सकता है. मगर, उस दिन मैं नहीं हंस पा रहा था.  


रोजाना कम से कम 2 घंटे करते थे पत्रकारों से बात 


नितिन कामथ ने पॉडकास्‍ट के दौरान कहा कि उन्होंने 2018 में लिंक्डइन (Linkedin) और 2019 में ट्विटर (Twitter) से अपनी सोशल मीडिया यात्रा की शुरुआत की. उससे पहले वह जेरोधा के सोशल मीडिया को मैनेज कर रहे थे. उन्होंने कहा कि मुझे कंटेंट की ताकत का एहसास हो गया था. हमारी किसी भी पोस्ट के बाद कंपनी को फायदा ही होता था. यूट्यूब का महत्त्व वह काफी पहले समझ गए थे. जेरोधा फाउंडर ने बताया कि उन्होंने पहले दिन से ही ब्लॉगिंग शुरू कर दी थी. वह 2011 से 2018 तक रोजाना कम से कम 2 घंटे पत्रकारों से वार्ता करते थे. उन्होंने कहा कि पैसों का व्यापार भरोसे और साख पर होता है इसलिए आपको अपना कंटेंट बनाना पड़ेगा.


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