Eighth Pay Commission Updates: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने आठवें वेतन आयोग (8th Pay Commission) के टर्म ऑफ रेफरेंस (ToR) को मंजूरी दे दी है. यह फैसला करीब 1 करोड़ से अधिक सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए बड़ी राहत लेकर आया है, जो पिछले 10 महीनों से इस घोषणा का इंतजार कर रहे थे. सरकार ने इसे 28 अक्टूबर (मंगलवार) को आधिकारिक रूप से मंजूरी दी.

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क्या होता है टर्म ऑफ रेफरेंस (ToR)?

टर्म ऑफ रेफरेंस वह ढांचा है जिसके आधार पर वेतन आयोग अपने सुझाव तैयार करता है- यानी इसी के जरिए आयोग यह तय करता है कि बेसिक पे, भत्ते और पेंशन में कितनी बढ़ोतरी की जानी चाहिए. सरकार की ओर से स्पष्ट किया गया है कि आयोग अपनी सिफारिशें तैयार करते समय देश की वित्तीय स्थिति, राजकोषीय प्रबंधन और विकास एवं कल्याणकारी योजनाओं पर खर्च की क्षमता को ध्यान में रखेगा.

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8वें वेतन आयोग की सिफारिशें लागू होने के बाद इसका फायदा निम्नलिखित कर्मचारियों को मिलेगा- केंद्र सरकार के स्थायी और अस्थायी कर्मचारी, रक्षा मंत्रालय और सशस्त्र बलों के कर्मचारी, रेलवे, डाक विभाग, और केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (CAPF) के कर्मचारी और पेंशनभोगी (pensioners).

कितनी बढ़ेगी सैलरी?

कर्मचारियों की सैलरी में बढ़ोतरी का आधार होगा फिटमेंट फैक्टर. सातवें वेतन आयोग में यह फैक्टर 2.57x रखा गया था. उदाहरण के तौर पर अगर किसी कर्मचारी की बेसिक सैलरी 20,000 रुपये थी, तो नई सैलरी बनी:  20,000 रुपये × 2.57 = 51,400 रुपये.

अगर इस बार सरकार फिटमेंट फैक्टर को और बढ़ाती है (जैसे 3.0x या 3.5x तक), तो सैलरी में और बड़ी छलांग संभव है.

उदाहरण से समझिए- कितना बढ़ेगा वेतन

मान लीजिए किसी कर्मचारी का पद लेवल-4 पर है. वर्तमान वेतन संरचना के अनुसार उसकी बेसिक सैलरी 29,200 रुपये है. इस पर महंगाई भत्ता (DA) अभी 55% है और एचआरए (HRA) 27% के हिसाब से जोड़ा जाता है.

वर्तमान सैलरी की गणना इस तरह होगी —

बेसिक सैलरी: 29,200 रुपये

डीए (55%): 16,060 रुपये

एचआरए (27%): 7,884 रुपये कुल सैलरी = 53,144 रुपये

अब मान लीजिए 8वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 2.0 तय किया जाता है. ऐसे में नए वेतनमान की गणना इस प्रकार होगी-

नई सैलरी के बाद:

बेसिक सैलरी: ₹29,200 × 2 = ₹58,400 रुपये

डीए: शून्य (क्योंकि महंगाई भत्ता नई बेसिक में समायोजित हो जाता है)

एचआरए (27%): 15,768 रुपयेकुल सैलरी = 74,168 रुपये

यानि कि 8वें वेतन आयोग के लागू होने के बाद लेवल-4 के कर्मचारी की सैलरी 53,144 रुपये से बढ़कर 74,168 रुपये हो जाएगी. यानी करीब 21,000 रुपये प्रति माह की बढ़ोतरी संभव है.

कब से लागू होगा 8वां वेतन आयोग?

सरकार के अनुसार, 8th Pay Commission की सिफारिशें जनवरी 2026 से लागू होंगी. हालांकि आयोग को अपनी रिपोर्ट सौंपने के लिए 18 महीने का समय दिया गया है. इसलिए संभावना है कि यह वेतन संशोधन 2027 या 2028 तक लागू किया जा सकता है.

करीब 10 महीने पहले केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने 8वें वेतन आयोग के गठन की जानकारी दी थी. उन्होंने कहा था कि आयोग सरकारी कर्मचारियों के वेतन, पेंशन और भत्तों की समीक्षा करेगा ताकि वेतन को रिवाइज कर को वर्तमान आर्थिक परिदृश्य के अनुरूप बनाया जा सके.

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