Demat Account in December 2023: दिसंबर 2023 में डीमैट खाते की संख्या में जबरदस्त बढ़त दर्ज की गई है. सेंट्रल डिपॉजिटरी सर्विसेज और नेशनल सिक्योरिटीज डिपॉजिटरी द्वारा जारी किए गए आंकड़ों के अनुसार दिसंबर 2023 में देशभर में नए डीमैट खाते खोलने के मामले में नया रिकॉर्ड बना है. केवल एक महीने खोले गए डीमैट खातों की संख्या 41.78 लाख से अधिक रही. उससे पहले नवंबर में  कुल 27.81 लाख डीमैट खाते खोले गए थे. दिसंबर 2022 में भारत में कुल 21 लाख से अधिक डीमैट खाते खोले गए थे. दिसंबर में खोले गए 41 लाख से अधिक खाते के बाद देशभर में कुल डीमैट अकाउंट की संख्या 13.93 करोड़ के पार चली गई है. वहीं एक महीने में कुल इन खातों की संख्या में 3.1 फीसदी और सालाना के आधार पर 28.66 फीसदी तक बढ़त दर्ज की गई है.


क्यों बढ़ी डीमैट खातों की संख्या?


दिसंबर 2023 में डीमैट खातों की संख्या में बढ़त के पीछे कई कारण है. दिसंबर में पांच राज्यों के विधानसभा चुनावों के नतीजे घोषित किए गए हैं, जिसमें तीन में बीजेपी को पूर्ण बहुमत मिला है. इन चुनावी नतीजों ने 2024 में होने वाले लोकसभा चुनावों में मोदी सरकारी की वापसी की उम्मीद को बल दिया है. इस कारण निवेशक इसे अर्थव्यवस्था के लिए बेहतर संकेत मान रहे हैं और इसका असर डीमैट खातों की संख्या व निवेश पर दिख रहा है.


इसके अलावा शेयर बाजार में आई जबरदस्त तेजी और कई आईपीओ की शानदार लिस्टिंग ने भी निवेशकों के भरोसे में इजाफा किया है. 2023 के अंत तक सेंसेक्स और निफ्टी दोनों में ही सालाना आधार पर 18.8 फीसदी और 20 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई है. वहीं BSE मिडकैप और BSE स्मॉलकैप ने 45.5 फीसदी और 47.5 फीसदी की छलांग लगाई है. शेयर बाजार में देखी गई तेजी ने डीमैट खातों की संख्या में बढ़ोतरी में बड़ी भूमिका निभाई है. भारतीय अर्थव्यवस्था जुलाई से सितंबर तक की तिमाही में 7.6 फीसदी की दर से बढ़ी है, जो आरबीआई के उम्मीद से ज्यादा थी. आरबीआई ने इस दौरान 6.5 फीसदी जीडीपी का अनुमान लगाया था. ऐसे में बेहतर जीडीपी के आंकड़ों ने भारतीय इकोनॉमी को मजबूती प्रदान की है.


जल्द डीमैट खाते की संख्या हो जाएगी 20 करोड़ के पार


मनी कंट्रोल में छपी रिपोर्ट के मुताबिक निवेशकों के बीच शेयर बाजार में बढ़ते भरोसे के कारण अगले 12 महीने में देश में डीमैट खातों की संख्या 20 करोड़ के पार चली जाएगी. इसका मतलब हुआ कि आने वाले वक्त में नए डीमैट खातों की संख्या में और तेज बढ़ोतरी दर्ज की जा सकती है.


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