नई दिल्लीः पर्यावरण के अनुकूल पब्लिक ट्रांसपोर्ट को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से दिल्ली सरकार ने राष्ट्रीय राजधानी में रजिस्टर्ड ई-रिक्शों को 7 करोड़ रुपये की सब्सिडी देने का आज फैसला किया. आम आदमी पार्टी (आप) की सरकार ने एक बयान में कहा कि वायु प्रदूषण से निपटने के लिए राष्ट्रीय राजधानी में 3,382 ई-रिक्शा को 15,000 से 30,000 रुपये तक की सब्सिडी दी जाएगी.
बीते 31 मार्च, 2016 तक रजिस्टर्ड हुए 2027 ई-रिक्शा में से प्रत्येक को 15,000 रुपये की सब्सिडी दी जाएगी, जबकि एक अप्रैल, 2016 के बाद रजिस्टर्ड 1,355 ई-रिक्शा में से प्रत्येक को 30,000 रुपये की सब्सिडी दी जाएगी. यह फैसला पर्यावरण विभाग और दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण कमेटी (डीपीसीसी) के शीर्ष अधिकारियों की बैठक के दौरान पर्यावरण मंत्री इमरान हुसैन ने लिया.
हुसैन ने कहा कि सब्सिडी की राशि 'एंबियंट एयर फंड' (पर्यावरण संरक्षण के लिए डीजल वाहनों से एक लीटर डीजल पर 25 पैसे वसूले जाने से बने कोष) से दी जाएगी. रजिस्टर्ड ई-रिक्शों को सब्सिडी की राशि फरवरी के बाद मिलनी शुरू हो जाएगी. मार्च 2016 में बजट पेश करते हुए दिल्ली के उप मुख्यमंत्री और वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा था कि आप सरकार प्रदूषण न फैलाने वाले वाहनों को बढ़ावा देगी. साल 2015-16 में बैट्री चालित और ई-रिक्शा के 3709 मालिकों को 4.97 करोड़ रुपये की सब्सिडी दी गई थी.
एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने बताया कि 31 मार्च 2016 तक रजिस्टर्ड 2027 ई-रिक्शा को प्रत्येक को 15,000 रूपये की दर से रियायत दी जाएगी. इसके साथ ही एक अप्रैल 2016 के बाद से रजिस्टर्ड 1355 ई रिक्शा को प्रत्येक को 30,000 रूपये की दर से रियायत दी जाएगी.