Panchak 2021 in Hindi: पंचक का हिंदू धर्म में विशेष महत्व बताया गया है. 'मुहूर्त चिंतामणि' के अनुसार चंद्रमा का गोचर जब घनिष्ठा, शतभिषा, पूर्वा भाद्रपद, उत्तरा भाद्रपद और रेवती में होता है तो पंचक आरंभ होता है. इसके साथ जब चंद्रमा कुंभ और मीन राशि में राशि परिवर्तन करता है तो भी पंचक की स्थिति बनती है. इस भदवा भी कहा जाता है. कुछ पंचक काल में शुभ कार्य भी किए जा सकते हैं. मान्यता है कि बुधवार और गुरुवार को शुरू होने वाले पंचक सभी तरह के कार्यों के लिए उत्तम है. इसमें सगाई, विवाह के साथ अन्य मांगलिक कार्य किए जा सकते हैं.
पंचक कब से कब तकपंचांग के अनुसार बीते 28 जून 2021 से पंचक आरंभ हुआ था. पंचक का समापन ज्योतिष गणना के अनुसार 03 जुलाई 2021 को हो रहा है.
पंचक कैलेंडर 2021
- 28 जून 2021 से 03 जुलाई 2021 तक
- 25 जुलाई 2021 से 30 जुलाई 2021 तक
- 22 अगस्त 2021 से 26 अगस्त 2021 तक
- 18 सितंबर 2021 से 23 सितंबर 2021 तक
- 15 अक्टूबर 2021 से 20 अक्टूबर 2021 तक
- 12 नवंबर 2021 से 16 नवंबर 2021 तक
- 09 दिसंबर 2021 से 14 दिसंबर 2021 तक
पंचक क्या है?शास्त्रों में पंचक के कुछ प्रकार बताए गए हैं. दिनों के अनुसार इन पंचकों को अलग अलग नामों से भी जाना जाता है-
- रोग पंचकपंचक जब रविवार से आरंभ होता है तो इसे रोग पंचक कहा जाता है. रोग पंचक के बारे में कहा जाता है कि इन पांच दिनों में सेहत संबंधी परेशानी होने का खतरा बना रहता है.
- राज पंचकपंचक जब सोमवार से आरंभ होता है तो राज पंचक की स्थिति बनती है. इसे शुभ पंचक माना जाता है. वर्तमान समय में राज पंचक चल रहा है. इस पंचक में जॉब, करियर और भूमि आदि से जुड़े कार्यों में सफलता मिलती है.
- अग्नि पंचक अग्नि पंचक मंगलवार के दिन से आरंभ होता है. इस पंचक में विवाद और क्रोध की स्थिति से बचना चाहिए. वाहन का प्रयोग सावधानी से करना चाहिए और अग्नि से बचना चाहिए. इसमें शुभ कार्य नहीं किए जाते हैं.
- चोर पंचकशुक्रवार के दिन से जब पंचक आरंभ होता है तो इस चोर पंचक कहा जाता है. इस पंचक में लेनदेन के मामले में सावधानी बरतनी चाहिए. इसके साथ ही धन का प्रयोग बहुत ही सोच समझ कर करना चाहिए.